Search Post on this Blog

ज्वालामुखी के मानव पर पड़ने वाले प्रभाव का वर्णन कीजिए।

प्रश्न । 

ज्वालामुखी के मानव पर पड़ने वाले प्रभाव का वर्णन कीजिए। ( 15 marks) (UPPSC 2021)

उत्तर। 

ज्वालामुखी एक प्रकार की अंतर्जात बल है और यह एक प्राकृतिक आपदा भी है। ज्वालामुखी के माध्यम से, पृथ्वी की पपड़ी पर एक मुख खुलता है जिससे गर्म लावा (लावा को हम  मैग्मा कहते हैं जब यह पृथ्वी के अंदर होता है) , धूल, गर्म गैसों, जल वाष्प, आदि पृथ्वी की सतह पर और वायुमंडल में जमा हो जाता हैं। 


ज्वालामुखी UPSC

मानव पर ज्वालामुखी का प्रभाव:

ज्वालामुखी मानव को सकारात्मक और नकारात्मक दोनों तरह से प्रभावित करता है।


मनुष्य पर ज्वालामुखी का सकारात्मक प्रभाव:

मनुष्य पर ज्वालामुखियों के सकारात्मक प्रभाव निम्नलिखित हैं:

  • ज्वालामुखी से बहुत सारे नए भू-आकृतियों का निर्माण होता है जैसे क्रेटर झीलें, ज्वालामुखीय पठार और ज्वालामुखी पर्वत।
  • यह एस्थेनोस्फीयर से सतह पर सोना, लोहा, निकल और मैग्नीशियम जैसे मूल्यवान तत्व को पृथ्वी के सतह पर लाता है। उदाहरण के लिए, दक्षिण अफ्रीका में जोहान्सबर्ग का सोना और कनाडा में सडबरी का निकल निक्षेप ज्वालामुखी निक्षेपण के उदाहरण हैं।
  • आग्नेय शैल लावा के ठंडा होने के बाद बनता है, जिसका उपयोग निर्माण जैसी विभिन्न गतिविधियों के लिए किया जाता है।
  • ज्वालामुखी हमें उपजाऊ भूमि प्रदान करते हैं। ज्वालामुखी की धूल और राख का जमाव भूमि को उपजाऊ बनाता है। उदाहरण के लिए, दक्कन ट्रैप की काली मिट्टी और जावा द्वीपों की उपजाऊ भूमि ज्वालामुखी द्वारा बनाई गई है।
  • यह सुंदर दृश्य भी बनाता है और जिससे यह पर्यटकों को आकर्षित करता है।
  • यह पृथ्वी के आंतरिक भाग के बारे में भी बहुत सारी जानकारी प्रदान करता है।
  • यह टेक्टोनिक प्लेट सीमाओं और प्लेटों की गति की स्थिति के बारे में जानकारी प्रदान करता है।
  • यह भूतापीय ऊर्जा का एक संभावित स्रोत भी है। संयुक्त राज्य अमेरिका, रूस, इटली और जापान जैसे कई देश भूतापीय ऊर्जा का उत्पादन कर रहे हैं।

मनुष्य पर ज्वालामुखी का नकारात्मक प्रभाव:

मनुष्य पर ज्वालामुखी के नकारात्मक प्रभाव निम्नलिखित हैं:

  • ज्वालामुखी की धूल और गैसें वातावरण को अपारदर्शी बना देती हैं जिससे वायु परिवहन मुश्किल हो जाता है, श्वसन रोग बढ़ जाता है और सूर्यातप को पृथ्वी की सतह तक पहुंचने से भी रोकता है ( यह पृथ्वी को ठंण्डा करता है )।
  • क्षेत्र में लावा का जमाव होने से वहा की जमीन  को सरंध्र बनाती है जिससे क्षेत्र में पानी की कमी हो जाती है।
  • ज्वालामुखियों के अचानक फटने से मानव बस्ती, मानव जीवन और उसकी संपत्ति को नुकसान होता  है। उदाहरण के लिए, माउंट वेसुवियस (जो एक ज्वालामुखी विस्फोट से बना है) ने 78 ईस्वी में इटली में पोम्पेई शहर को नष्ट कर दिया।
  • यदि समुद्र में ज्वालामुखियों का विस्फोट होता है तो यह आसपास के जल को गर्म कर देता है जिससे की वहा के जलीय जीवो पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ता हैं। 


You may like also:

Previous
Next Post »