प्रश्न।
मानव के नैतिक एवं राजनीतिक अभिवृति से आप क्या समझते हैं? आप इन्हे वर्तमान राजनैतिक परिदृश्य में किस प्रकार उचित सिद्ध करेंगे ?
(UPPSC GS paper 4 2021)
उत्तर।
नैतिक और राजनीतिक अभिवृति नैतिकता के दो पहलू हैं जो सही और गलत क्या है उनका मूल्यांकन करते है।
मनुष्यों के नैतिक और राजनीतिक अभिवृति :
नैतिक अभिवृति किस मानव की विश्वास और मूल्य होता हैं जो उसके व्यवहार को निर्देशित करते हैं जबकि राजनीतिक अभिवृति समाज या सरकार या किस संस्था का मूल्य और सिद्धांत होता हैं जो समाज या संस्थान के कार्य का मार्गदर्शन करते हैं।
नैतिक अभिवृति दैनिक बातचीत में व्यक्तियों का मार्गदर्शन करते हैं और यह संस्कृति, धर्म और व्यक्तिगत अनुभव द्वारा गठित होता हैं, जबकि राजनीतिक अभिवृति सरकार या संस्थानों का मार्गदर्शन करते हैं और यह राजनीतिक विचारधारा, सामाजिक मानदंडों और ऐतिहासिक संदर्भ के आधार पर गठित होता है।
नैतिक अभिवृति किसी व्यक्ति की खुशी और आंतरिक अंतरात्मा पर आधारित होते हैं, जबकि राजनीतिक अभिवृति कई लोगों के साझा मूल्य होता है जो समाज में न्याय, समानता स्थापित करने के लिए होता है [ जैसे लोकतंत्र और मानवाधिकारों ]
नैतिक अभिवृति व्यक्ति से व्यक्ति में भिन्न हो सकते हैं जबकि राजनीतिक अभिवृति विभिन्न राजनीतिक प्रणालियों और संस्कृति में भिन्न होते हैं। जैसे भारत के राजनीतिक अभिवृति चीन से अलग हैं।
भारत के वर्तमान राजनीतिक परिदृश्य सांस्कृतिक और भौगोलिक रूप से विशाल विविधता के कारण गतिशील और जटिल है।
धर्म या व्यक्तिगत कर्तव्य की अवधारणा जैसे कुछ नैतिक अभिवृत्तियाँ राजनीतिक अभिवृत्तियाँ के पूरक है क्योकि यह सामाजिक न्याय और समानता स्थापित करने में मदत करती है।
कुछ नैतिक अभिवृतिया जैसे धर्म और संस्कृति की श्रेष्ठता या जातिवाद हमारे वर्तमान राजनीतिक अभिवृतिया जैसे धर्मनिरपेक्षता और समानता से विपरीत है जो समाज में मतभेद और संघर्ष पैदा करती हैं। और यह हमारी सांस्कृतिक और राजनैतिक विविधता का स्वाद और तीखापन प्रदान करती है।
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