लॉर्ड माउंटबेटन ने किसे "वन मैन फ्रंटियर आर्मी" कहा था?
क) अब्दुल गफ्फार खान
ख) महात्मा गांधी
ग) जवाहर लाल नेहरू
घ)सुभाष चंद्र बोस
उत्तर। क) अब्दुल गफ्फार खान को लॉर्ड माउंटबेटन ने "वन-मैन फ्रंटियर आर्मी" कहा था क्योंकि उन्होंने लगभग अकेले ही भारत के उत्तर-पश्चिमी कोनों में स्वतंत्रता आंदोलन का नेतृत्व किया था।
लॉर्ड माउंटबेटन के बारे में:
लॉर्ड माउंटबेटन ब्रिटिश भारत के अंतिम वायसराय (गवर्नर-जनरल) और स्वतंत्र भारत के पहले गवर्नर-जनरल (वायसराय) थे।
माउंटबेटन योजना भारतीय स्वतंत्रता की अंतिम योजना थी जिसे लॉर्ड माउंटबेटन द्वारा पेश किया गया था। इस योजना को "3 जून योजना" "डिकी बर्ड योजना" या "योजना बाल्कन" के नाम से भी जाना जाता है।
माउंटबेटन योजना के आधार पर भारत और पाकिस्तान का विभाजन हुआ।
अब्दुल गफ्फार खान के बारे में:
अब्दुल गफ्फार खान को फ्रंटियर गांधी ( सीमांत गांधी) या वन-मैन फ्रंटियर आर्मी के नाम से भी जाना जाता है।
वह 1930 में खुदाई खिदमतगार (शाब्दिक रूप से भगवान के नाम पर मददगार) के संस्थापक थे।
रेड शर्ट आंदोलन की शुरुआत 1930 में भारत के उत्तर-पश्चिम सीमांत प्रांत में अब्दुल गफ्फार खान द्वारा की गई थी।
खान अब्दुल गफ्फार खान वह व्यक्ति हैं जिन्होंने उत्तर-पश्चिम सीमांत प्रांत (पेशावर) में सविनय अवज्ञा आंदोलन (सीडीएम) का नेतृत्व किया था।
जवाहर लाल नेहरू के बारे में:
जवाहर लाल नेहरू 16 साल तक देश के पहले प्रधानमंत्री रहे।
1929: दिसंबर 1929 में लाहौर अधिवेशन में जवाहरलाल नेहरू को भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस का अध्यक्ष चुना गया। उन्होंने पूर्ण स्वराज (पूर्ण स्वतंत्रता) की मांग को औपचारिक रूप दिया।
1931: पंडित जवाहर लाल नेहरू ने 1931 में कराची कांग्रेस अधिवेशन में मौलिक अधिकारों के प्रस्ताव का मसौदा तैयार किया। इसकी अध्यक्षता सरदार वल्लभभाई पटेल ने की।
1946: जवाहरलाल नेहरू ने 13 दिसंबर, 1946 को उद्देश्य प्रस्ताव पेश किया।
नेहरू संविधान सभा की तीन प्रमुख समितियों अर्थात् संघ शक्ति समिति, संघ संविधान समिति और राज्य समिति के अध्यक्ष थे।
पंडित नेहरू के सम्मान में 14 नवंबर को बाल दिवस के रूप में मनाया जाता है।
"डिस्कवरी ऑफ इंडिया" जवाहर लाल नेहरू द्वारा लिखित एक प्रसिद्ध पुस्तक है।
"आलस्य स्वयं के लिए हानिकारक है" पंडित नेहरू का एक प्रसिद्ध उद्धरण है।
जवाहरलाल नेहरू की प्रसिद्ध पंक्ति थी "बाकी सब कुछ इंतज़ार कर सकता है लेकिन कृषि नहीं"।
सुभाष चंद्र बोस:
सुभाष चंद्र बोस ने भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के हरिपुरा (1938) सत्र और त्रिपुरी सत्र (1939) की अध्यक्षता की। 1939 में, उन्होंने पट्टाभि सीतारमैया को हराया, जिन्हें महात्मा गांधी का समर्थन प्राप्त था, और कांग्रेस के अध्यक्ष पद पर जीत हासिल की, लेकिन बाद में उन्होंने इस्तीफा दे दिया क्योंकि वे गांधी के बीच मतभेद पैदा नहीं करना चाहते थे।
उन्होंने 1939 में "फॉरवर्ड ब्लॉक" का गठन किया।
1943 में, वह सिंगापुर गए और INA (इंडियन नेशनल आर्मी) में शामिल हो गए, जिसकी स्थापना 1942 में मोहन सिंह ने की थी।
मोहनदास करमचंद गांधी के बारे में:
2 अक्टूबर 1869: पोरबंदर गुजरात में जन्म।
1907: दक्षिण अफ़्रीका में पहला सत्याग्रह।
1915: 9 जनवरी 1915 को वे भारत लौटे। इस दिन को प्रवासी भारतीय दिवस के रूप में मनाया जाता है। गांधीजी को महात्मा की उपाधि 1915 में रवीन्द्रनाथ टैगोर ने दी थी।
1917: चम्पारण सत्याग्रह। यह भारत में महात्मा गांधी का पहला सत्याग्रह था।
1918 (22 मार्च): खेड़ा सत्याग्रह।
1918 (15 मार्च): अहमदाबाद मिल हड़ताल। यह महात्मा गांधी की पहली भूख हड़ताल थी।
1917-1918: सत्याग्रह आंदोलन
1919-1924: खिलाफत आंदोलन
1920: असहयोग आंदोलन
1924: महात्मा गांधी 1924 में बेलगाम में भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के अध्यक्ष बने।
1930: दांडी मार्च।
1930: सविनय अवज्ञा आंदोलन।
1942: भारत छोड़ो आंदोलन। गांधीजी का नारा "करो या मरो"।
1945: सुभाष चंद्र बोस ने महात्मा गांधी को "राष्ट्रपिता की उपाधि" दी।
30 जनवरी 1948: महात्मा गांधी की मृत्यु, बिड़ला हाउस, नई दिल्ली।
"माई एक्सपेरिमेंट विद ट्रुथ" महात्मा गांधी की आत्मकथा है।
हिंद स्वराज, नवजीवन, हरिजन, यंग इंडिया और इंडियन ओपिनियन महात्मा गांधी द्वारा प्रकाशित पत्रिकाएँ हैं।
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